मढ़ई के रसूखदारों के होटल और रिसॉर्ट पर करोड़ों का टैक्स बकाया
टैक्स ना मिलने से ग्राम का विकास रूका जबकी पर्यटन की आय से होटल मालिक कमा रहे मोटा मुनाफा
सोहागपुर । सतपुड़ा टाइगर रिजर्व मढ़ई के प्रवेश द्वार के सामने बसे ग्राम टेकापार में प्रदेश के नामी ग्रामी लोगों द्वारा अपने रिसॉर्ट और होटल बनाकर पर्यटन का फायदा उठाकर मोटी रकम कमाई जा रही है। परंतु ग्राम पंचायत टेकापार द्वारा अधिरोपित कर का भुगतान रिसोर्ट एवं होटल संचालकों द्वारा नहीं किया जा रहा है प्राप्त जानकारी के अनुसार होटल एवं रिसॉर्ट संचालकों पर करोड़ों का कर बाकी है। प्राप्त जानकारी के अनुसार उनके द्वारा 2022-23 में अधिरोपित कर का भुगतान कई नामीग्रामी रिसोर्ट एवं होटल संचालकों द्वारा नहीं किया जा रहा है जबकि 2022 से पहले भी इनके ऊपर करोड़ का कर बाकी है। कुछ छोटे होटल संचालको द्वारा कर का भुगतान किया गया है परंतु बड़े एवं लाखों रुपए प्रतिदिन के पैकेज पर पर्यटकों को रिजॉर्ट्स एवं होटल उपलब्ध कराने वाले यह संचालक ग्राम पंचायत का कर जमा करने में कोताही बरत रहे।
इन पर बकाया….
ग्राम पंचायत कार्यालय टेकापार से प्राप्त जानकारी के अनुसार चीतल रिजॉर्ट पर 2022-23 का 57423 रुपए, होटल अनमोल पर 18469 रुपए, देनवा बैक वाटर पर 236931 रुपए, होटल गोल्ड मार्क (लहरसा) 22934 रुपए, फोरसिथ लॉज 235689 रूपए और सतपुड़ा मंगल (ग्रीन स्केप रिसोर्ट) 30703 रुपए बाकी है वही ग्राम पंचायत द्वारा अभी तक वित्तीय वर्ष 2022-23 में होटल पंचतत्व विला, होटल आवश्यम मढ़ई (गौरीसा), सतपुड़ा वैली, होमस्टे विकास, फार्म हाउस और वायसन लॉज पर कर अधिरोपित नही किया गया है जबकि इसके अलावा इन सभी रिजॉर्ट्स एवं होटल संचालकों पर 2017-18 से लेकर 2022-23 तक करोड़ों रुपए का कर शुल्क बाकी है।
इन्होंने दिया टैक्स…….
एक और जहां नामीग्रामी रिसोर्ट और होटल संचालक ग्राम पंचायत का कर शुल्क जमा करने में आनाकानी कर रहे हैं तो वही कुछ इमानदार रिसॉर्ट होटल संचालकों द्वारा कर का भुगतान कर दिया गया है जिनमें कृष्णा स्टेहोम, दा मढ़ई रिसोर्ट, होटल पारीजात, ड्रीम व्यू हेरीटेज, सतपुड़ा सफारी रिसोर्ट, सनशाइन जंगल लॉज, और मढ़ई रिवर साइट लॉज द्वारा वित्तीय वर्ष 2022-23 में अधिरोपित कर शुल्क जमा ग्राम पंचायत कार्यालय में किया गया है
इस विषय को लेकर जब टेकापार ग्राम पंचायत के सचिव मनसुख लाल धानक से बात की गई तो उनका कहना है कि हमारे द्वारा जिन रिसोर्ट एवं होटल संचालकों द्वारा कर शुल्क जमा नहीं किया गया है उन्हें नोटिस दिया गया है वहीं जिन संचालकों पर कर अधिरोपित नहीं हुआ है उनसे होटल और रिसॉर्ट के कागजात मांगे जा रहे हैं ताकि उन पर भी कर शुल्क अधिरोपित किया जा सके परंतु उनके द्वारा बचने के लिए जानबूझकर कागजात ग्राम पंचायत कार्यालय में जमा नहीं किया जा रहे हैं।
ग्राम का विकास रुका ….
होटल और रिजॉर्ट संचालकों द्वारा जानबूझकर टैक्स जमा न करने के चलते ग्राम का विकास रुका हुआ है समय पर टैक्स की राशि उपलब्ध ना होने पर ग्राम पंचायत नागरिकों को मूलभूत सुविधाएं अपने स्वयं की राशि से करने में असमर्थ है पंचायत को ग्राम विकास के लिए सरकार की ओर देखना पड़ता है