
केबिनेट ने पास किया 19 धार्मिक स्थलों पर शराबबंदी, पिपरिया में खुले आम बेची और पिलाई जा रही शराब, महंगे दाम में भी बेच रहे है ठेकेदार शराब
( पंकज पाल विशेष संवाददाता )
नर्मदापुरम _ प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव ने महेश्वर में कैबिनेट की बैठक में एक अहम निर्णय पारित कर दिया है जिसमे प्रदेश के 19 धार्मिक स्थलों पर शराबबंदी करने का फैसला लिया गया है इससे पूर्व मां नर्मदा तट से 5 किलो मीटर दूर तक शराब बिक्री पर रोक लग चुकी है साथ ही अहाते बार भी बंद करने आदेश हो चुके है ।
वही देखा जाए तो इसके विपरीत नर्मदा तट से लेकर विभिन्न नगरों में शराब बिक्री, परिवहन, निर्माण एवं परोसने का कार्य भी जोरो पर दिखाई पड़ रहा है नए नए रेस्टोरेंट, ढाबा एवं गुमठियां जिन पर सुबह से ही सुराप्रेमी रसपान करने पहुंच जाते है मगर स्थानीय प्रशासन न जाने क्यों इसकी अनदेखी करता नजर आ रहा है ।
बात करे पिपरिया की तो पचमढ़ी रोड, शोभापुर रोड, हथवास आदि स्थलों सहित नव निर्मित कालोनियों में भी इनका गण बन चुके है यहां तक कि मोदी हेलीपैड पर भी इनका जमघट नजर आता रहता है, भला हो पिपरिया के दोनों थाना प्रभारीयो का जो कम से कम कुछ जगहों पर शाम होते ही गस्त देने पहुंच जाते है मगर अन्य स्थानों का क्या ? पुलिस प्रशासन एवं आबकारी विभाग को इन स्थानों पर पहुंच जांच करना चाहिए जिससे जिससे आने वाला भविष्य इसकी लत से बाहर हो सके ।
वहीं देखा जाए तो शराब दुकानों में प्रिंट रेट से ज्यादा शराब बेची जा रही है इसको लेकर कई लोगों ने मीडिया को बताया कि शराब ठेकेदार प्रिंट रेट से ज्यादा में शराब बेच रहे है अगर इसको लेकर दुकानदार से कहे तो मारपीट करने पर उतारू हो जाते है इसको लेकर आबकारी विभाग पिपरिया से लेकर नर्मदापुरम तक आबकारी जिलाधिकारी आंखों पर पट्टी बांधे हुए है लूटमार मचा रखी है, मिलीभगत से इंकार भी नहीं किया जा सकता ।
वही पिपरिया से कुछ किलोमीटर दूर ठेकदार की मिलीभगत से आसानी से शराब उपलब्ध कराई जा रही है, कुछ समय पहले जागरूक पत्रकारों द्वारा स्टेशन रोड थाना पुलिस के द्वारा इनके खिलाफ कार्यवाही भी करवाई गई थी लेकिन स्थिति फिर जस की तस, फिर से सरेआम शराब उपलब्ध करा रहे है ठेकेदार ।